वैदिक ज्योतिष एवम अनेक शास्त्रों में रोग एवम जीवन में आने वाली तरह तरह की समस्याओं का निदान सुझाया गया है| उपाय मुख्यत:दो प्रकार के होते हैं -लौकिक एवम दैवी | लौकिक उपायों में औषध चिकित्सा का सहारा लिया जाता है|दैवी उपाय यह हैं -
1.मन्त्र : यह मन के लिए है |सभी ग्रहों एवम देवी देवताओं के लिए महर्षियों ने मन्त्र रचना की है |इसका प्रभाव मन पर अधिक पड़ता है तथा वातावरण में ऊर्जा प्रवाहित होने लगती है |
2.दान : दान की महत्ता सर्वोपरी है |यह त्याग का ही एक स्वरुप है |प्रत्येक ग्रह से सम्बंधित दान की वस्तुएं निर्धारित हैं |
3.रत्न : संसार की प्रत्येक सभ्यता चाहे वो किसी भी देश, समुदाय ,धर्म या जाती की हो रत्नों के चमत्कारिक प्रयोग को स्वीकार करती है |प्रत्येक ग्रह और राशी के अलग अलग रंग एवम रत्न होते हैं |रत्न पहनने से जातक का मन मस्तिष्क सभी प्रभावित होते हैं |
4.तंत्र : इस विज्ञानं के पीछे देवशक्ति है | यह एक पूजा करने का विधान है |यह जादुई विद्या नहीं है |यह एक प्रकार का शक्ति से तादात्मय है |
5.यन्त्र :इसे शास्त्रों में आदर का स्थान मिला है |अलग अलग देवताओं या ग्रहों के अलग अलग यंत्र धारण किये जाते हैं |ज्योतिषियों द्वारा तरह तरह के यन्त्र बताये जाते हैं ,जिनसे रोग एवम कठिनाइयों पर विजय प्राप्त की जाती है।
सभी उपाय विशेषज्ञों की देख रेख में ही करने चाहियें।
nice