घोड़े के पैरो में लोहे की अर्धचन्द्राकार वस्तु (U आकार )को लगाया जाता है ,घोडे के खुरों को मजबूत बनाये रखती है, घिसने नहीं देतीज. उसे ही घोड़े की नाल कहते है,जो नाल स्वत: ही घोडे के पैरों से निकल गयी हो.उस नाल का अलग ही महत्व है,
आजकल कुछ घोड़ेवाले अपने घोड़े को काले रंग से डाई करके सड़क किनारे इसकी नाल बेच रहे है ,
शनि को लोहा व काला रंग सर्वाधिक पसंद हैंशनिदेव के अशुभ प्रभावों की शांति हेतु लोहा धारण किया जाता है किन्तु यह लौह मुद्रिका सामान्य लोहे की नहीं बनाई जाती.ये या तो काले घोड़े की नाल या नाव की कील से बनवाई जाती है
१. शनिवार को काले कपडे में लपेट कर अनाज में रख दो तो अनाज में वृद्धि हो।
२,शनिवार को काले कपडे में लपेट कर गल्ले में रखने से धन वृद्धि होती है
३. शनि के दुष्ट प्रभाव को काम करने के लिए काले घोड़े की नाल का छल्ला बनवाकर