गुरु लगभग एक साल में राशि परिवर्तन करते हैं । ग्रह के एक राशि से दुसरी राशि में जाने के समय को संक्रान्ति कहते हैं । गोचर हमेशा जन्म कालीन चन्द्रमा की स्थिति से समझना चाहिए । आप अपने नाम जो राशिनुसार नहीं हो से राशि देखना गलत है । गुरु 11 अक्टूबर को बृश्चिक राशि में गोचर करना प्रारंभ करेंगे । आज के पाठ में मेष, बृष एवं मिथुन राशि के विषय में बताया गया है ।